
▶️सड़कों और नालियों के निर्माण को मिलेगा प्राथमिकता, दुर्ग को आदर्श शहर बनाने पर जोर
▶️डेयरी संचालकों पर सख्त कार्रवाई होगी,नगर निगम समयसीमा में प्रस्ताव और कार्य पूरा करने के लिए प्रतिबद्ध
▶️महापौर और आयुक्त ने विकास कार्यों की समीक्षा बैठक ली, समयसीमा में प्रस्ताव प्रस्तुत करने के निर्देश
दुर्ग – महापौर अलका बाघमार एवं आयुक्त सुमित अग्रवाल ने आज नगर निगम के डाटा सेंटर में वार्डवार इंजीनियरों के साथ शहर में चल रहे और प्रस्तावित विकास कार्यों की विस्तृत समीक्षा बैठक ली। बैठक में मुख्य रूप से सड़कों के निर्माण, नालियों की मरम्मत एवं सफाई, डेयरी संचालकों पर कार्रवाई और पार्क क्षेत्र में जल निकासी व्यवस्था पर चर्चा हुई।बैठक मे कार्यपालन अभियंता आरके जैन,हरिशंकर साहू,मोहित मरकाम, अर्पणा मिश्रा, विकास दमाहे, प्रेरणा दुबे, ठाकुर आदि मौजूद रहे.
बैठक में महापौर अलका बाघमार ने स्पष्ट निर्देश दिए कि शहर के हर वार्ड में जहां भी सड़कों और नालियों की तत्काल आवश्यकता है, वहां की स्थिति का सर्वेक्षण कर सूची तैयार करें। इसके आधार पर प्रस्ताव बनाकर पूरी जानकारी के साथ दो दिन के भीतर रिपोर्ट प्रस्तुत करें। उन्होंने कहा कि सड़कों का निर्माण न केवल नागरिकों के आवागमन को सुगम बनाता है, बल्कि यह शहर के विकास का भी स्पष्ट संकेत है।
महापौर ने कहा कि दुर्ग को आदर्श शहर बनाने के लिए नगर निगम लगातार कार्य कर रहा है। प्रदेश सरकार के निर्देशन और नगर विकास विभाग के सहयोग से सड़कों के निर्माण के साथ-साथ नाले-नालियों का निर्माण एवं मरम्मत, पार्कों की सफाई और अन्य बुनियादी सुविधाओं के विकास पर जोर दिया जा रहा है। उन्होंने इंजीनियरों को दादा-दादी और नाना-नानी पार्क की नालियों का निरीक्षण कर यह पता लगाने के निर्देश दिए कि नालियां बार-बार ब्लॉक क्यों हो रही हैं, और इसका स्थायी समाधान निकाला जाए।
बैठक में महापौर ने यह भी स्पष्ट किया कि जिन कार्यों की सूची सप्ताहभर पहले अधिकारियों से मांगी गई थी, उनकी पूरी जानकारी समय पर उपलब्ध कराई जाए। प्रस्तावों में कार्य की प्राथमिकता, अनुमानित लागत और अपेक्षित समयसीमा का उल्लेख होना चाहिए। उन्होंने चेतावनी दी कि समय सीमा का पालन नहीं करने वाले अधिकारियों पर कार्यवाही की जाएगी।
समीक्षा बैठक के दौरान डेयरी संचालकों के कारण गंदगी और अव्यवस्था पर भी चर्चा हुई। महापौर ने कहा कि नोटिस देने के बाद भी यदि नियमों का पालन नहीं किया जाता, तो अधिकारी केवल औपचारिकता न निभाएं बल्कि सख्त कार्रवाई करें, जिससे शहर में स्वच्छता व्यवस्था प्रभावित न हो।
महापौर अलका बाघमार ने अंत में कहा कि शहर के हर कोने में विकास कार्य समान रूप से पहुंचें, यह उनकी प्राथमिकता है, और इसके लिए सभी विभाग समयबद्ध तरीके से अपने दायित्व का निर्वहन करें।