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झीरम घाटी में शहीद हमारे नेताओं और जवानों की शहादत को हम सबका प्रणाम: CM भूपेश

बस्तर – छत्तीसगढ़ के बस्तर में हुए झीरम घाटी हत्याकांड के गुरुवार को 10 साल हो गए हैं। इसे लेकर एक बार फिर सियायत गरमाई हुई है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने हमले और जांच को लेकर केंद्र सरकार पर निशाना साधा है। सीएम बघेल ने कहा कि, झीरम मामले में नक्सली लीडर रमन्ना और गणपति का एफआईआर से नाम क्यों हटाया गया। नक्सली कमांडर को क्यों बचाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि, जब केंद्र में हमारी सरकार आएगी तो दूध का दूध और पानी का पानी हो जाएगा।

 

झीरम हमले की बरसी पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कई सवाल उठाए हैं। उन्होंने पूछा कि जांच में क्यों लापरवाही बरती गई। कहा कि, जब एफआईआर कराई जाती है तो एनआईए कोर्ट से स्टे ले आती है। कहा कि, हमने जो हमने सवाल उठाए हैं, उसका जवाब भाजपा दे। उन्होंने पूछा कि, नरेंद्र मादी के प्रधानमंत्री बनते ही दंडकारण्य कमेटी की घटना मानकर जांच क्यों बंद कर दी गई।

 

सीएम ने कहा- अनसुलझे सवाल आज भी जिंदा

मुख्यमंत्री बघेल ने झीरम हमले में मारे गए और शहीदों को नमन कर विनम्र श्रद्धांजलि दी है। कहा कि, झीरम घाटी में 25 मई 2013 को हुए नक्सल हमले में शहीद हमारे नेताओं और जवानों की शहादत को हम सबका प्रणाम। आज पूरा प्रदेश जब झीरम श्रद्धांजलि दिवस मना रहा है, तब सब अनसुलझे सवाल आज भी जिंदा हैं। हम सब राज्य को शांति का टापू बनाने की अपनी शपथ को दोहराते हैं।

 

कोटि-कोटि नमन एवं विनम्र श्रद्धांजलि.

 

झीरम घाटी में 25 मई 2013 को हुए नक्सल हमले में शहीद हमारे नेताओं और जवानों की शहादत को हम सबका प्रणाम।

Navin Dilliwar

Editor, thesamachaar.in

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